सर्वप्रथम न्यूज़ सौरभ कुमार : देश के गरीबों को मुफ्त में स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के मकसद से केंद्र सरकार की ओर से आयुष्मान भारत- प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना शुरू की गई है। अब सरकार ने गरीबों लाभ के लिए रेलवे और सरकारी कंपनियों के अस्पतालों को इस योजना से जोड़ने का फैसला किया है।
कैबिनेट सचिव ने भेजा पत्र
लाइव मिंट की एक रिपोर्ट के अनुसार रेलवे और सरकारी कंपनियों के अस्पतालों को आयुष्मान भारत योजना से जोड़ने के लिए कैबिनेट सचिव राजीव गाबा ने सभी मंत्रालयों के सचिवों, राज्यों के मुख्य सचिवों और रेलवे बोर्ड के चेयरमैन को 1 नवंबर को पत्र भेजा था। इस पत्र में कहा गया था कि सरकार ने फैसला किया है कि आयुष्मान भारत योजना का कवरेज बढ़ाने के लिए रेलवे और सरकारी कंपनियों की ओर से संचालित अस्पतालों को इससे जोड़ा जाए। नवंबर में हेल्थ इंडस्ट्री से जुड़े एक कार्यक्रम में नीति आयोग के सलाहकार आलोक कुमार ने भी यह मुद्दा उठाया था।
अब तक 236 अस्पतालों को जोड़ा गया
दो सरकारी अधिकारियों के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया है कि नवंबर में राजीव गाबा की ओर से पत्र जारी होने के बाद से अब तक ऐसे 236 अस्पतालों को आयुष्मान भारत योजना से जोड़ा जा चुका है। अभी 700 अस्पताल ऐसे बचे हैं जिनको इस योजना से जोड़ा जाना है। जिन 236 अस्पतालों को आयुष्मान भारत योजना से जोड़ा गया है उनमें से 91 अस्पतालों का संचालन भारतीय रेलवे करता है। अन्य 36 अस्पताल कोल मंत्रालय और 10 अस्पताल ईपीएफओ की ओर संचालित किए जा रहे हैं।
सितंबर 2018 में लॉन्च की गई थी योजना
आयुष्मान भारत-प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना सितंबर 2018 में लॉन्च की गई थी। इस योजना के तहत गरीब परिवारों को सरकार की ओर से नामांकित अस्पतालों में 5 लाख रुपए तक का इलाज मुफ्त में उपलब्ध कराया जाता है। इस योजना के लॉन्च होने के बाद अब तक 78 लाख मरीजों का उपचार किया जा चुका है। इस योजना से अब तक देशभर के 21271 अस्पताल जुड़ चुके हैं।