सर्वप्रथम न्यूज़ सौरभ कुमार : जिन परिवारों में हाथ से दिव्यांग या इससे जुड़ी अन्य परेशानी वाले सदस्य हैं तो वे समझ सकते होंगे कि ऐसे लोगों को रोजमर्रा के कार्य करने में कितनी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। हालांकि, इन लोगों के लिए आईआईटी के छात्रों ने एक ऐसा उपकरण तैयार किया है, जो चर्चित एलेक्सा पर बोलते ही चालू हो जाएगा और चम्मच की सहायता से थाली में रखे भोजन को उठाकर उक्त व्यक्ति के मुंह तक ले जाएगा। इस उपकरण को पेटेंट कराने के लिए छात्रों ने भेज दिया है। उन्हें उम्मीद है कि जल्द ही बाजार में आम लोगों के लिए ये उपलब्ध होगा।
कुछ वर्षों में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को लेकर पूरी दुनिया में एक तरह की तकनीक क्रांति ने जन्म लिया है। इंसानों की तरह ना सिर्फ व्यवहार, बल्कि रोजमर्रा के कार्य तक कृत्रिम उपकरणों के जरिये कराने के लिए लगातार शोध-अध्ययन किए जा रहे हैं।
एलेक्सा भी इसी से जुड़ा है, जिसने कुछ ही समय में दुनिया में सुर्खियां बटोरी हैं। आईआईटी गांधीनगर के छात्र क्रिस फ्रांसिस और प्रवीण वेंकटेश का कहना है कि उनका फूड बडी नामक उपकरण एलेक्सा के जरिये आवाज की कमांड लेगा।
इसके बाद उपकरण में लगे बटन को स्टार्ट करते ही वह शुरू हो जाएगा। उपकरण को स्टार्ट के अलावा मध्य में ही रोका (रिज्यूम) किया जा सकता है। फ्रांसिस आईआईटी से कंप्यूटर साइंस इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर रहे हैं। वेंकटेश इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग के छात्र हैं।
इनका कहना है कि जिनके हाथ काम नहीं करते हैं, उन्हें खाना खाने के लिए भी सहायता की जरूरत पड़ती है। सामान्य तौर पर परिवार का कोई सदस्य, दोस्त या सेवा देने वाला कोई कर्मी ऐसे व्यक्ति को खिलाता है, लेकिन कभी-कभी देखरेख करने वालों के दूर रहने से समस्या पैदा हो जाती है।
इनका फूड बडी उपकरण थाली में रखे भोजन को चम्मच की सहायता से उठाने और मुंह तक ले जाने का कार्य करेगा। अंतरराष्ट्रीय बाजार में इस तरह के उपकरण काफी महंगे हैं। इसलिए उन्होंने अपने उपकरण में सस्ते और बेहतर गुणवत्ता वाले पुर्जे के अलावा अत्याधुनिक तकनीक का इस्तेमाल किया है, जिससे उपकरण की कीमत में काफी गिरावट आ सकती है।