दिव्यांगजनों के लिए राष्ट्रीय विश्वविद्यालय वित्तमंत्री ने वर्ष 2015-16 के अपने बजट भाषण में राष्ट्रीय वाक एवं श्रवण सस्थान किस उद्देश्य के लिए हुआ

सर्वप्रथम न्यूज़ सौरभ कुमार : दिव्यांगजनों के लिए राष्ट्रीय विश्वविद्यालय वित्तमंत्री ने वर्ष 2015-16 के अपने बजट भाषण में राष्ट्रीय वाक एवं श्रवण सस्थान
(एनआईएसएच), तिरूवनंतपुरम का विस्तार करके इसे राष्ट्रीय दिव्यांगता और पुनर्वास विज्ञान किया गया और इसे अंतर-मंत्रालयी परामर्शप्रक्रिया के लिए दिनांक 19.05.2016 का वाला/विभागाका परिपत्रित किया गया और दिनांक07022017 को एक संशोधित
मोट भी परिपत्रित किया गया।इल के लिए प्रारूप नोट में निहित वर्तमान विश्वविद्यालय के उन्नयन के प्रस्ताव की समीक्षा शादी क्योंकि यह मुखर रूप से प्रमाणित हो रहा था कि वर्तमान वाक एवं श्रवण संस्थान को हत उद्देश्य के लिए परिवर्तित करना पूर्णतः व्यवहार्य नहीं है और इस सुविधा का संतुलन विद्यालय को हरित स्थान पर स्थापित करने से हो पाऐगा। इस संबंध में यह अनुभव किया
कि विश्वविद्यालय के लिए चयन किया गया स्थल देश के समावेशी और संतुलित क्षेत्रीय विकास में अपना सहयोग दे।तटनसार, अब. सामान्यतः अपेक्षाकृत कम विकसित क्षेत्र के रूप में स्वीकार्य देश के पूर्वोत्तर क्षेत्र अमरूप जिला, असम में दिव्यांगजनों के लिए ग्रीन फील्ड राष्ट्रीय विश्वविद्यालय स्थापित किये जाने का प्रस्ताव है। विभाग ने इस संबंध में एक मंत्रिमंडलीय प्रारूप नोट को अंतिम रूप दिया है और इसे संबंधित मंत्रालयों/विभागों को उनकी टिप्पणियों के लिए परिषत्रित किया है। देश के पांच क्षेत्रों में वर्तमान बधिर कालेजों के लिए वित्तीय सहायता योजना
योजना का उद्देश्य पूर्वोत्तर में एक कालेज सहित देश में निम्नलिखित वर्तमान पांच बधिर कालेजों में वित्तीय सहायता प्रदान करना है:भारत के उत्तरी क्षेत्र में बधिरों के लिए ग्रामीण विकास ओर प्रबंधन कालेज।
पश्चिमी क्षेत्र में बधिरों के लिए कालेज।
दक्षिणी क्षेत्र में बधिरों के लिए कालेज।
केन्द्रीय क्षेत्र में बधिरों के लिए कालेज
पूर्वी क्षेत्र में बधिरों के लिए कालेज।
यदि योजना के सहायता अनुदान प्राप्त करने के लिए अपेक्षित मानदंड पूरा करने वाले उपयुक्त
कालेजों का पता नहीं लगता है तो विभाग को योजना के अंतर्गत सहायता अनुदान प्राप्त करने
के अपेक्षित मानकों को पूरा करने वाले एक क्षेत्र में दो बधिर कालेजों की पहचान की छूट होगी।योजना को आरंभ में 29.01.2015 को अनुमोदित किया गया था और संशोधित योजना अगस्त, 2018 को अधिसूचित की गयी।योजना में, देश के पांच क्षेत्रों में से प्रत्येक में यूजीसी द्वारा मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालयों से संबंट एक कालेज को, उसकी वर्तमान आधारभूत संरचना के विस्तार, यंत्रों/उपकरणों, कार्यालय यंत्रों, कंप्यूटरों, फर्नीचर-फिक्सचर आदि की खरीद के लिए तथा कालेज संकाय, स्टॉफ और संकेत भाषा द्विभाषियों के वेतन और भत्तों के लिए वित्तीय सहायता प्रदान करने की परिकल्पना की गई है।

Check Also

कितने मानव अंगों का प्रत्यारोपण किया जा सकता है?

🔊 Listen to this सर्वप्रथम न्यूज़ सौरभ कुमार : नई दिल्ली स्थित राष्ट्रीय अंग एवं …