सर्वप्रथम न्यूज़ आदित्य राज पटना:-
बच्चों के अधिकार से संबंधित महत्त्वपूर्ण अनुच्छेद
मार्गदर्शक सिद्धांतः सभी अधिकारों हेतु सामान्य जरूरतें
अनुच्छेद- 1
18 वर्ष से कम आयु के सभी बच्चों को इस सम्मेलन में भाग लेने का अधिकार है।
अनुच्छेद- 2
यह सम्मेलन सभी व्यक्तियों के लिए है, भले ही उनकी जाति, धर्म, योग्यता क्या है, आप क्या सोचते या बोलते हैं या फिर आप किस प्रकार के परिवार से आते हैं।
अनुच्छेद- 3
बच्चों से संबंधित सभी संगठन प्रत्येक बच्चों के लिए वही करेंगे जो उनके लिए सर्वोत्तम है।
अनुच्छेद- 4
सरकार को यह अधिकार सभी बच्चों को उपलब्ध कराने होंगे।
अनुच्छेद- 6
आपको जीने का अधिकार प्राप्त है। सरकार को आपकी उत्तरजीविता तथा विकास को सुनिश्चित करना होगा।
अनुच्छेद- 12
जब वयस्क आपको प्रभावित करने वाले निर्णय ले रहे हों, तो उससे होनेवाले संभावित परिणाम पर आपको अपना विचार व्यक्त करने का अधिकार है। साथ ही, आपको यह भी अधिकार है कि आपके सुझाव पर सावधानीपूर्वक विचार किया जाए।
जीने और विकास करने का अधिकार
अनुच्छेद- 7
आपको वैधानिक रूप से पंजीकृत नाम और राष्ट्रीयता पाने का अधिकार है। आपको यह जानने का भी अधिकार है कि आपके अभिभावक द्वारा सही देखभाल हो रहा है या नहीं।
अनुच्छेद- 9
आपको अपने अभिभावकों से तब तक अलग नहीं किया जाना चाहिए जब तक कि यह स्वयं आपके हित में न हों, उदाहरणार्थ यदि अभिभावक अपने बच्चे से दुर्व्यवहार कर रहा है या उसकी उपेक्षा कर रहा है। यदि आपके माता-पिता अलग-अलग हो गए हों, तो आपको दोनों से संपर्क बनाये रखने का अधिकार है, जब तक कि उससे आपको कोई आघात न पहुँचे।
अनुच्छेद- 20
यदि आपका परिवार आपकी देखभाल नहीं करता तो ऐसे लोगों को आपकी देखभाल करनी चाहिए जो आपके धर्म, संस्कृति तथा भाषा का सम्मान करते हैं।
अनुच्छेद- 22
यदि आप देश में शरणार्थी बनकर आए हैं तो आपको वही अधिकार प्राप्त होने चाहिए जो देश में जन्म लेने वाले बच्चे को मिलते हैं।
अनुच्छेद- 23
यदि आप किसी प्रकार विकलांग हैं तो आपको विशेष देखभाल व सहयोग मिलनी चाहिए जिससे आप एक संपूर्ण व स्वतंत्र जीवन जी सकें।
अनुच्छेद- 24
आपको अच्छी गुणवत्ता की स्वास्थ्य सुविधा, शुद्धजल, पोषक भोजन तथा शुद्ध पर्यावरण पाने का अधिकार है, जिससे आप स्वस्थ रह सकें।
अनुच्छेद- 25
यदि आपकी देखभाल आपके माता-पिता के बजाय स्थानीय प्राधिकार द्वारा की जा रही है को नियमित रूप से आपके स्थितियों की समीक्षा की जानी चाहिए।
अनुच्छेद- 26
यदि आप गरीब या जरूरतमंद हैं तो आपको या आपके अभिभावक को सरकार से सहायता प्राप्त करने का अधिकार है।
अनुच्छेद- 27
आपको ऐसा जीवनस्तर प्राप्त करने का अधिकार है जो आपकी शारीरिक तथा मानसिक जरूरतों को भलीभांति पूरा कर सके। सरकार को आपके परिवार की मदद करनी चाहिए, यदि वह आपको यह सब उपलब्ध नहीं करा सकते।
अनुच्छेद 28
आपको शिक्षा पाने का अधिकार है। प्राथमिक शिक्षा नि:शुल्क होनी चाहिए।
अनुच्छेद- 29
शिक्षा ऐसी हो जो आपके व्यक्तित्व व प्रतिभा को उतनी विकसित करे जितनी संभव है। यह आपको अपने माता-पिता, अपनी, तथा अन्य संस्कृतियों का आदर करने के लिए प्रोत्साहित करें।
अनुच्छेद- 30
आपको अपने परिवर की भाषा व रीति-रिवाज सीखने तथा प्रयुक्त करने का अधिकार है, चाहे यह देश के अधिसंख्य लोगों की भाषा व रीति हो या न हो।
अनुच्छेद- 31
आपको आराम करने, खेलने तथा व्यापक स्तर पर गतिविधियों में शामिल होने का अधिकार है।
अनुच्छेद 42
इस सम्मेलन की जानकारी सरकार को सभी माता-पिता व बच्चों को देनी चाहिए।
सुरक्षा का अधिकार: खतरा से सुरक्षित रखना
सहभागिता का अधिकार: सक्रिय अभिव्यक्ति
अनुच्छेद- 19
सरकार यह सुनिश्चित करेगी कि आपकी उचित रीति से देखभाल हो रही है तथा आप अपने अभिभावक से या अन्य व्यक्ति से, जो आपका पालन-पोषण कर रहे हैं उनकी हिंसा, दुर्व्यवहार व उपेक्षा से सुरक्षित रहें।
अनुच्छेद- 32
सरकार आपको ऐसे कार्य से सुरक्षित रखेगी जो खतरनाक हों या जिससे आपका स्वास्थ्य या शिक्षा प्रभावित होती हो।
अनुच्छेद- 36
आपको, आपके विकास को प्रभावित करने वाली गतिविधियों से सुरक्षित रखा जाना चाहिए।
अनुच्छेद- 35
सरकार यह सुनिश्चित करेगी कि बच्चों का अपहरण तथा विक्रय न हों।
अनुच्छेद- 11
यदि आपको गैर-कानूनी तरीके से अपने देश से बाहर ले जाया जा रहा हो, तो सरकार को उसे रोकने के लिए कदम उठाने चाहिए।
अनुच्छेद- 3
सरकार को चाहिए कि वह आपको लैंगिक दुर्व्यवहार से सुरक्षित रखें।
अनुच्छेद- 37
आपसे किसी प्रकार का निर्दयतापूर्वक, अमानवीय या अपमानजनक व्यवहार नहीं किया जाना चाहिए। साथ ही, आपको दंडित नहीं किया जाना चाहिए।
अनुच्छेद- 40
यदि आप पर कानून तोड़ने का आरोप है तो आपको कानूनी सहायता मिलनी चाहिए। आपको कारागार में वयस्कों के साथ नहीं रखा जाना चाहिए और हर स्थिति में आपको अपने परिवार के संपर्क में रहने देना चाहिए। केवल अत्यंत गंभीर अपराध के मामले में हीं आपको कारावास का दण्ड दिया जाना चाहिए।
सहभागिता का अधिकार: सक्रिय अभिव्यक्ति
अनुच्छेद- 13
आपको सूचना पाने तथा उसमें सहभागी रहने, मिलने-जुलने, समूह या संगठन में शामिल होने का अधिकार है जब तक कि यह आपके लिए या किसी अन्य के लिए घातक न हों।
अनुच्छेद- 14
आप जो चाहते हैं, उसे सोचने और उसमें विश्वास रखने का, और अपने धर्म के पालन का अधिकार है, जब तक कि आप किसी अन्य को उसके अधिकार का उपयोग करने से बाधित न करें। इन मामलों में आपके अभिभावक को आपको बताया जाना चाहिए।
अनुच्छेद- 15
आपको आपस में मिलने-जुलने और किसी समूह या संगठन में शामिल होने का अधिकार है जबतक कि इससे अन्य व्यक्तियों के अधिकार बाधित न हों।
अनुच्छेद- 16
आपको निजता का अधिकार है। कानून को आपकी जीवन-शैली, आपकी प्रतिष्ठा, आपके परिवार तथा घर के विरुद्ध होने वाले आक्रमण से आपको सुरक्षित रखनी चाहिए।
अनुच्छेद- 17
आपको सार्वजनिक संचार माध्यमों द्वारा विश्वसनीय सूचना पाने का अधिकार है। टेलीविजन, रेडियो व समाचारपत्रों को आपको ऐसी सूचना देनी चाहिए जो आप समझ सकें तथा ऐसी सामग्री को बढ़ावा नहीं देनी चाहिए जिससे आपको क्षति पहुँचे।
अधिनियम के अंतर्गत आयोग के निम्नलिखित दायित्व हैं :
- किसी विधि के अधीन बच्चों के अधिकारों के संरक्षण के लिए सुझाये गये उपायों की निगरानी व जांच करना जो उनके प्रभावी कार्यान्वयन के लिए वर्तमान केंद्र सरकार को सुझाव देते हैं
- उन सभी कारकों की जांच करना जो आतंकवाद, सांप्रदायिक हिंसा, दंगों, प्राकृतिक आपदा, घरेलू हिंसा, एचआईवी /एड्स, तस्करी, दुर्व्यवहार, यातना और शोषण, वेश्यावृत्ति और अश्लील साहित्य से प्रभावित बच्चों के खुशी के अधिकार व अवसर को कम करती है और उसके लिए उपचारात्मक उपायों का सुझाव देना
- ऐसे संकटग्रस्त, वंचित और हाशिये पर खड़े बच्चे जो बिना परिवार के रहते हों और कैदियों के बच्चों से संबंधित मामलों पर विचार करना और उसके लिए उपचारात्मक उपायों का सुझाव देना
- समाज के विभिन्न वर्गों के बीच बाल अधिकार साक्षरता का प्रसार करना और बच्चों के लिए उपलब्ध सुरक्षोपाय के बारे में जागरूकता फैलाना
- केन्द्र सरकार या किसी राज्य सरकार या किसी अन्य प्राधिकारी सहित किसी भी संस्थान द्वारा चलाए जा रहे सामाजिक संस्थान जहां बच्चों को हिरासत में या उपचार के उद्देश्य से या सुधार व संरक्षण के लिए रखा गया हो, वैसे बाल सुधार गृह या किसी अन्य स्थान पर जहाँ बच्चों का निवास हो या उससे जुड़ी संस्था का निरीक्षण करना
- बच्चों के अधिकारों के उल्लंघन की जाँच कर ऐसे मामलों में कार्यवाही प्रारम्भ करना और निम्न मामलों में स्वतः संज्ञान लेना, जहाँ :
- बाल अधिकारों का उल्लंघन व उपेक्षा होता हो
- बच्चों के विकास और संरक्षण के लिए बनाये गये कानून का क्रियान्वयन नहीं किया गया हो
- बच्चों के कल्याण और उसे राहत प्रदान करने के लिए दिये गये नीति निर्णयों , दिशा-निर्देशों या निर्देश का अनुपालन नहीं किया जाता हो
- जहाँ ऐसे मामले पूर्ण प्राधिकार के साथ उठाये गये हों
- बाल अधिकार को प्रभावी बनाने के लिए अंतरराष्ट्रीय संधियों और अन्य अंतरराष्ट्रीय उपकरणों के आवधिक समीक्षा और मौजूदा नीतियों, कार्यक्रमों और अन्य गतिविधियों का अध्ययन कर बच्चों के हित में उसे प्रभावी रूप से क्रियान्वित करने के लिए सिफारिश करना
- बाल अधिकार पर बने अभिसमयों के अनुपालन का मूल्यांकन करने के लिए बाल अधिकार से जुड़े मौजूदा कानून, नीति एवं प्रचलन या व्यवहार का विश्लेषण व मूल्यांकन करना और नीति के किसी भी पहलू पर जाँच कर प्रतिवेदन देना जो बच्चों को प्रभावित कर रहा हो और उसके समाधान के लिए नये नियम बनाने का सुक्षाव देना
स्रोत: यूनिसेफ