सर्वप्रथम न्यूज़ सौरभ कुमार : मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने दिव्यांगजनों के लिए संचालित अनुदानित शिक्षण संस्थाओं के कार्मिकों के मानदेय में 15 प्रतिशत वृद्धि के प्रस्ताव को मंजूरी दी है। इस पर 7.86 करोड़ रुपए का अतिरिक्त वार्षिक वित्तीय भार आएगा। इसी प्रकार उन्होंने महिला निधि के माध्यम से स्वयं सहायता समूहों के सदस्यों को उपलब्ध कराये जाने वाले ऋण पर 8 प्रतिशत ब्याज अनुदान दिए जाने के प्रस्ताव का अनुमोदन किया है।गहलोत के इस निर्णय से दिव्यांगजनों के लिए संचालित अनुदानित विशेष योग्यजन महाविद्यालयों, आवासीय/गैर आवासीय विद्यालयों, छात्रावास एवं मानसिक विमंदित पुनर्वास गृह में कार्यरत कार्मिकों को बढ़ा हुआ मानदेय मिल सकेगा। मुख्यमंत्री ने 2023-24 के बजट में इस संबंध में घोषणा की थी।हलोत ने महिला निधि के माध्यम से स्वयं सहायता समूहों के सदस्यों को उपलब्ध कराये जाने वाले ऋण पर 8 प्रतिशत ब्याज अनुदान दिए जाने के प्रस्ताव का भी अनुमोदन किया है। इस के लिए वित्तीय वर्ष 2023-24 के लिए 12 करोड़ रुपए के अतिरिक्त वित्तीय प्रावधान के प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान की गई।प्रस्ताव के अनुसार स्वयं सहायता समूहों के सदस्यों को 2 वर्ष की अवधि के लिए उपलब्ध होने वाले 1 लाख रुपए तक के ऋण पर 8 प्रतिशत ब्याज अनुदान दिया जाएगा। गहलोत द्वारा वर्ष 2023-24 के बजट में की गई घोषणा की अनुपालना में यह स्वीकृति दी गई है।
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